Class 8 sanskrit chapter 7 hindi translation
सप्तमः पाठः भारतजनताऽहम् Hindi translation अभिमानधना विनयोपेता, शालीना भारतजनताऽहम्। कुलिशादपि कठिना कुसुमादपि, सुकुमारा भारतजनताऽहम्।। स्वाभिमान रूपी धन वाली विनय और शालीनता से भरी हुई मैं भारत की जनता हूँ ।पत्थर से भी अधिक कठोर और फूल से भी अधिक कोमल में भारत की जनता हूँ । निवसामि समस्ते संसारे, मन्ये च कुटुम्बं वसुन्धराम्। प्रेयः श्रेयः च चिनोम्युभयं, सुविवेका भारतजनताऽहम् मैं सारे संसार में निवास करती हूँ और समस्त भूमंडल को अपना परिवार मानती हूँ । रुचिकर और कल्याणप्रद दोनों रास्तों को चुनती हूँ । विवेक से परिपूर्ण मैं भारत की जनता हूँ । विज्ञानधनाऽहम् ज्ञानधना, साहित्य कला संगीतपरा। अध्यात्म सुधातटिनी स्नानैः, परिपूता भारत जनताऽहम्।। विज्ञान रूपी धन वाली, साहित्य, संगीत कला से परिपूर्ण अध्यात्म रूपी अमृतमयी नदी में स्नान से पवित्र मैं भारत की जनता हूँ । मम गीतैर्मुग्धं समं जगत्,मम नृत्यैर्मुग्धं समं जगत्। मम काव्यैर्मुग्धं समं जगत्,रसभरिता भारत जनताऽहम्।। मेरे गीतों के द्वारा सारा संसार मुग्ध है, मेरे नृत्य के द्वारा सारा संसार मुग्ध है । मैरे काव्यों कैं द्वारा सारा सं...